गर्भाशय (बच्चेदानी) का अपने स्थान से हट जाने का प्राकृतिक चिकित्सा से उपचार:-
1. गर्भाशय में सूजन हो जाने पर स्त्री रोगी को चार से पांच दिनों तक फलों का रस पीकर उपवास रखना चाहिए, फिर इसके बाद बिना पका संतुलित आहार लेना चाहिए।
2. गर्भाशय में सूजन से पीड़ित स्त्री को कभी भी नमक, मिर्चमसाला वाला, तली भुनी चीजें तथा मिठाईयां आदि नहीं खानी चाहिए।
3. गर्भाशय में सूजन हो जाने पर स्त्री के पेट पर मिट्टी की गीली पट्टी लगानी चाहिए। इसके बाद एनिमा देनी चाहिए और फिर गर्म कटिस्नान कराना चाहिए। इसके बाद टब में नमक डालकर पन्द्रह से बीस मिनट तक स्त्री को इसमें बैठाना चाहिए।
4. गर्भाशय में सूजन से पीड़ित स्त्री को प्रतिदिन दो से तीन बार एक-दो घंटे तक अपने पैर को एक फुट ऊंचा उठाकर लेटना चाहिए और आराम करना चाहिए। इसके बाद रोगी स्त्री को श्वासन क्रिया करनी चाहिए जिसके फलस्वरूप उसका रोग ठीक हो जाता है।
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